नई दिल्ली | सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि व्हाट्सएप और इसकी मूल कंपनी मेटा ने भारत सरकार को देश में अपनी सेवाएं बंद करने की किसी योजना के बारे में सूचित नहीं किया है. यह कांग्रेस सदस्य विवेक तन्खा के एक सवाल के जवाब में राज्यसभा में लिखित जवाब के रूप में था. क्या व्हाट्सएप उपयोगकर्ता विवरण साझा करने के सरकारी निर्देशों के कारण भारत में परिचालन बंद करने की योजना बना रहा है.
एन्क्रिप्शन तोड़ने पर सेवा बंद
यह सवाल व्हाट्सएप के पिछले बयानों के बाद आया है जिसमें कंपनी ने नए आईटी नियमों के बारे में चिंता व्यक्त की थी. जिसके बारे में कंपनी ने कहा था कि इससे एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन टूट सकता है. इस साल की शुरुआत में, व्हाट्सएप ने दिल्ली उच्च न्यायालय को सूचित किया था कि अगर उसे संदेशों पर एन्क्रिप्शन तोड़ने के लिए मजबूर किया जाता है तो वह भारत में काम करना बंद कर देगा.
एन्क्रिप्शन तोड़ने से क्या होगा?
व्हाट्सएप के वकील तेजस करिया ने कहा कि एन्क्रिप्शन तोड़ने से यूजर की प्राइवेसी कमजोर होगी. भरोसा कम होगा और लाखों मैसेज को लंबे समय तक स्टोर करना पड़ेगा. व्हाट्सएप और मेटा ने संशोधित आईटी नियमों को चुनौती दी है और कहा है कि वे निजता के अधिकार का उल्लंघन करते हैं.
अश्विनी वैष्णव ने संसद में अपने जवाब में बताया कि सरकार भारत की संप्रभुता, अखंडता, रक्षा, सुरक्षा और सार्वजनिक व्यवस्था की रक्षा के लिए सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की धारा 69ए के तहत निर्देश जारी करती है.